मंगल कवच | Mangal Kavach
मंगल कवच हिंदू धर्म में अत्यंत प्रभावशाली और पूजनीय माना जाता है। यह एक दिव्य स्तोत्र है, जो भगवान मंगल या मंगल ग्रह की कृपा प्राप्त करने के लिए पाठ किया जाता है। ज्योतिष शास्त्र में मंगल ग्रह को साहस, शक्ति, ऊर्जा और आत्मविश्वास का प्रतीक माना गया है। यदि किसी व्यक्ति की कुंडली में मंगल ग्रह अशुभ स्थिति में हो, तो इसका प्रभाव उसके जीवन पर नकारात्मक हो सकता है। ऐसे में मंगल कवच का नियमित पाठ अत्यंत लाभकारी माना गया है।
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मंगल कवच (Mangal Kavach)
|| अथ मंगल कवचम् ||
अस्य श्री मंगलकवचस्तोत्रमंत्रस्य कश्यप ऋषिः।
अनुष्टुप् छन्दः। अङ्गारको देवता।
भौम पीड़ा परिहारार्थं जपे विनियोगः।
रक्तांबरो रक्तवपुः किरीटी चतुर्भुजो मेषगमो गदाभृत्।
धरासुतः शक्तिधरश्च शूली सदा ममस्याद्वरदः प्रशांतः ॥
अंगारकः शिरो रक्षेन्मुखं वै धरणीसुतः।
श्रवणौ रक्तांबरः पातु नेत्रे मे रक्तलोचनः ॥
नासां शक्तिधरः पातु मुखं मे रक्तलोचनः।
भुजौ मे रक्तमाली च हस्तौ शक्तिधरस्तथा ॥
वक्षः पातु वरांगश्च हृदयं पातु लोहितः।
कटिं मे ग्रहराजश्च मुखं चैव धरासुतः ॥
जानुजंघे कुजः पातु पादौ भक्तप्रियः सदा।
सर्वण्यन्यानि चांगानि रक्षेन्मे मेषवाहनः ॥
या इदं कवचं दिव्यं सर्वशत्रु निवारणम्।
भूतप्रेतपिशाचानां नाशनं सर्व सिद्धिदम् ॥
सर्वरोगहरं चैव सर्वसंपत्प्रदं शुभम्।
भुक्तिमुक्तिप्रदं नृणां सर्वसौभाग्यवर्धनम्।
रोगबंधनविमोक्षं च सत्यमेतन्न संशयः ॥
॥ इति श्रीमार्कण्डेयपुराणे मंगलकवचं संपूर्णं ॥
मंगल दोष मुक्ति मंत्र
”ॐ अं अंगारकाय नमः।
ॐ भौं भौमाय नमः।”
”ऊँ नमो भगवते पंचवदनाय पश्चिममुखाय गरुडानना।
मं मं मं मं मं सकल विषहराय स्वाहा।”
”ॐ हां हंसः खं खः
ॐ हूं श्रीं मंगलाय नमः।
ॐ क्रां क्रीं क्रौं सः भौमाय नमः।”
इति श्री
मंगल कवच का महत्व
मंगल कवच का पाठ करने से कई प्रकार के लाभ प्राप्त होते हैं। यह व्यक्ति को मानसिक और शारीरिक शक्ति प्रदान करता है। मंगल ग्रह के अशुभ प्रभाव को दूर करने के लिए यह कवच एक सुरक्षा कवच के रूप में कार्य करता है। ज्योतिषीय दृष्टिकोण से देखा जाए तो यह उन व्यक्तियों के लिए अनिवार्य माना गया है, जिनकी कुंडली में मांगलिक दोष है।
मंगल कवच व्यक्ति के जीवन में निम्नलिखित लाभ प्रदान करता है:
मांगलिक दोष निवारण: जिन जातकों की कुंडली में मांगलिक दोष होता है, उन्हें मंगल कवच का पाठ अवश्य करना चाहिए। यह वैवाहिक जीवन को सुखमय बनाता है।
विवाह में आने वाली बाधाएं दूर करना: विवाह में देरी या किसी भी प्रकार की समस्या का समाधान करने के लिए मंगल कवच बहुत प्रभावी है।
कर्ज से मुक्ति: मंगल कवच का नियमित पाठ आर्थिक समस्याओं को दूर करता है और कर्ज से मुक्ति दिलाता है।
शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य में सुधार: यह कवच व्यक्ति के आत्मविश्वास को बढ़ाता है और मानसिक शांति प्रदान करता है।
ऊर्जा और पराक्रम का संचार: यह साहस और पराक्रम को बढ़ावा देता है, जिससे व्यक्ति हर चुनौती का सामना कर सके।
मंगल कवच का पाठ विधि
मंगल कवच का पाठ करते समय निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना चाहिए:
मंगल कवच का पाठ करते समय शुद्धता और एकाग्रता का विशेष ध्यान रखना चाहिए। पाठ से पहले स्नान करें और साफ वस्त्र धारण करें।
भगवान मंगलदेव की मूर्ति या चित्र के सामने दीपक जलाएं।
"ॐ मंगलाय नमः" का जाप करें और उसके बाद मंगल कवच का पाठ शुरू करें।
भगवान मंगलदेव की पूजा करें और उन्हें लाल फूल, गुड़ और लाल वस्त्र अर्पित करें। इसके बाद शांत मन से मंगल कवच का पाठ करें। यह पाठ मंगलवार के दिन करना विशेष रूप से फलदायी होता है।
पाठ समाप्त होने के बाद भगवान मंगलदेव से अपनी समस्याओं के समाधान की प्रार्थना करें।
मंगल कवच का ज्योतिषीय महत्व
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, मंगल ग्रह का कुंडली में शुभ होना अत्यंत महत्वपूर्ण है। मंगल ग्रह यदि अशुभ स्थिति में हो, तो यह व्यक्ति के जीवन में संघर्ष, तनाव और आर्थिक समस्याएं ला सकता है। मंगल कवच का पाठ करने से मंगल ग्रह के दुष्प्रभाव कम होते हैं और यह व्यक्ति के जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार करता है।
मंगल कवच के लाभ
कुंडली दोष का निवारण: जिनकी कुंडली में मंगल ग्रह छठे, आठवें या बारहवें स्थान पर होता है, उन्हें मंगल कवच का पाठ करना चाहिए।
विवाह में सफलता: यह स्तोत्र उन लोगों के लिए अत्यंत लाभकारी है, जिन्हें शादी में विलंब का सामना करना पड़ रहा हो।
धन और समृद्धि: मंगल कवच आर्थिक बाधाओं को दूर करता है और धन-संपत्ति में वृद्धि करता है।
परिवार में शांति और सद्भाव: यह पाठ परिवार के सदस्यों के बीच आपसी प्रेम और शांति बनाए रखता है।
मंगल कवच का पाठ करने की विधि
मंगल कवच का पाठ करते समय निम्नलिखित बातों का ध्यान रखना चाहिए:
सुबह के समय स्नान कर स्वच्छ कपड़े पहनें।
भगवान मंगलदेव की मूर्ति या चित्र के सामने दीपक जलाएं।
"ॐ मंगलाय नमः" का जाप करें और उसके बाद मंगल कवच का पाठ शुरू करें।
पाठ समाप्त होने के बाद भगवान मंगलदेव से अपनी समस्याओं के समाधान की प्रार्थना करें।
मंगल कवच के पाठ का मंत्र
"ॐ क्रां क्रीं क्रौं सः भौमाय नमः।"
यह मंत्र मंगल कवच के साथ उपयोग करने से इसकी शक्ति और प्रभाव बढ़ जाता है।
क्यों करें मंगल कवच का पाठ | Mangal Kavach
मंगल कवच एक दिव्य स्तोत्र है, जो व्यक्ति के जीवन में ऊर्जा, साहस और सकारात्मकता का संचार करता है। यह मंगल ग्रह के अशुभ प्रभावों को कम करने में अत्यंत प्रभावी है। यदि आप अपने जीवन में संघर्ष, कर्ज, या वैवाहिक समस्याओं का सामना कर रहे हैं, तो मंगल कवच का नियमित पाठ अवश्य करें। इसके प्रभाव से न केवल आपकी समस्याओं का समाधान होगा, बल्कि आप अपने जीवन में शांति, समृद्धि और सफलता प्राप्त करेंगे।
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